رضوی

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पने प्रियः अध्ययन कर्ताओं के लिए हज़रत इमाम हसन अस्करी अलैहिस्सलाम के कुछ मार्ग दर्शक कथन प्रस्तुत किये जारहे हैं।

 

1- अल्लाह

 

हज़रत इमाम हसन अस्करी अलैहिस्सलाम ने कहा कि अल्लाह वह है कि जब प्राणी विपत्तियों व कठिनाईयों मे फस कर चारो ओर से निराश हो जाता है और प्रजा से उसकी आशा समाप्त होजाती है तो वह फिर उसकी (अल्लाह) शरण लेता है।

 

 

2- हक़ को छोड़ना

 

हज़रत इमाम हसन अस्करी अलैहिस्सलाम ने कहा कि जिस आदरनीय व्यक्ति ने हक़ को छोड़ा वह अपमानित हुआ और जिस नीच ने हक़ पर अमल किया वह आदरनीय हो गया।

 

 

3- तक़लीद

 

हज़रत इमाम हसन अस्करी अलैहिस्सलाम ने कहा कि जनता को चाहिए कि अपनी आत्मा की रक्षा करने वाले, धर्म की रक्षा करने वाले, इन्द्रीयो का विरोध करने वाले, तथा अल्लाह की अज्ञा पालन करने वाले फ़कीह (धर्म विद्वान) की तक़लीद(अनुसरन) करें।

 

 

4- भविष्य

 

हज़रत इमाम हसन अस्करी अलैहिस्सलाम ने कहा कि शीघ्र ही मानवता पर एक ऐसा समय आने वाला है जिसमे मनुषय चेहरे से प्रसन्न दिखाई देगें परन्तु उनके हृदय अँधकार मय होंगे। ऐसे समय मे अल्लाह ने जिन कार्यो का आदेश दिया है वह क्रियात्मक रूप प्राप्त नही कर पायेंगे और अल्लाह ने जिन कार्यो से दूर रहने का आदेश दिया है लोग उन कार्यों को करेंगे। ऐसे समय मे इमानदार व्यक्ति को नीच समझा जायेगा तथा अल्लाह के आदेशो का खुले आम उलंघन करने वाले को आदर की दृष्टि से देखा जायेगा।

 

 

5- नसीहत (सदुपदेश)

 

हज़रत इमाम हसन अस्करी अलैहिस्सलाम ने कहा कि जिसने अपने मोमिन भाई को छुप कर सदुपदेश दिया उसने उसके साथ भलाई की। तथा जिसने खुले आम उसको सदुपदेश दिया उसने उसके साथ बुराई की।

 

 

6- सर्वोत्तम भाई

 

हज़रत इमाम हसन अस्करी अलैहिस्सलाम ने कहा कि तुम्हारा सर्वोत्तम भाई वह है जो तुम्हारी बुराईयों को भूल जाये व तुमने जो इस पर ऐहसान किया है उसको याद रखे।

 

 

7- मूर्ख व बुद्धिमान

 

हज़रत इमाम हसन अस्करी अलैहिस्सलाम ने कहा कि मूर्ख का दिल उसकी ज़बान पर होता है। और बुद्धि मान की ज़बान उसके दिल मे होती है।

 

 

8- लज्जा का घर

 

हज़रत इमाम हसन अस्करी अलैहिस्सलाम ने कहा कि जो व्यक्ति अनुचित कार्य रूपी (घोड़े) पर सवार होगा वह उससे लज्जा के घर मे उतरेगा। अर्थात जो व्यक्ति अनुचित कार्य करेगा वह अपमानित व लज्जित होगा।

 

 

9- क्रोध

 

हज़रत इमाम हसन अस्करी अलैहिस्सलाम ने कहा कि क्रोध समस्त बुराईयों की कुँजी है।

 

 

10- व्यर्थ का वाद विवाद

 

हज़रत इमाम हसन अस्करी अलैहिस्सलाम ने कहा कि व्यर्थ का वाद विवाद न करो वरना तुम्हारा आदर समाप्त हो जायेगा और मज़ाक़ न करो वरना लोगों का (तुम्हारे ऊपर) साहस बढ़ जायेगा।

 

 

11- अपमान का कारण

 

हज़रत इमाम हसन अस्करी अलैहिस्सलामने कहा कि मोमिन के लिए यह बात बहुत बुरी है कि वह ऐसी वस्तु या बात की ओर उन्मुख हो जो उसके अपमान का कारण बने।

 

 

12- दो सर्व श्रेष्ठ बातें

 

हज़रत इमाम हसन अस्करी अलैहिस्सलामने कहा कि दो विशेषताऐं ऐसी हैं जिनसे श्रेष्ठ कोई विशेषता नही है। (1) अल्लाह पर ईमान रखना व (2) अपने मोमिन भाई को लाभ पहुचाना।

 

 

13- बुरा पड़ोसी

 

हज़रत इमाम हसन अस्करी अलैहिस्सलामने कहा कि अच्छी बात को छिपाने व बुरी बात का प्रचार करने वाला पड़ोसी कमर तोड़ देने वाली विपत्ति के समान है।

 

 

14- इन्केसारी (नम्रता)

 

हज़रत इमाम हसन अस्करी अलैहिस्सलामने कहा कि नम्रता एक ऐसा गुण है जिससे ईर्श्या नही की जासकती।

 

 

15- ग़मगीन (शोकाकुल)

 

हज़रत इमाम हसन अस्करी अलैहिस्सलामने कहा कि शोकाकुल व्यक्तियों के सम्मुख प्रसन्नता प्रकट करना शिष्ठाचार के विऱुद्ध है।

 

 

16- द्वेष

 

हज़रत इमाम हसन अस्करी अलैहिस्सलामने कहा कि द्वेष रखने वाले व्यक्ति सबसे अधिक दुखित रहते है।

 

 

17- झूट बुराईयों की चाबी (कुँजी)

 

हज़रत इमाम हसन अस्करी अलैहिस्सलामने कहा कि समस्त बुराईयों को एक कमरे मे बन्द कर दिया गया है, व इस कमरे की चाबी झूट को बनाया गया है। अर्थात झूट समस्त बुराईयों की जड़ है।

 

 

18- नेअमत (अल्लाह से प्राप्त हर प्रकार की सम्पत्ति)

 

हज़रत इमाम हसन अस्करी अलैहिस्सलामने कहा कि नेअमत को धन्यवाद करने वाले के अतिरिक्त कोई नही समझ सकता और आरिफ़ ( ज्ञानी) के अतिरिक्त अन्य नेअमत का धन्यवाद नही कर सकते।

 

 

19- अयोग्य की प्रशंसा

 

हज़रत इमाम हसन अस्करी अलैहिस्सलाम ने कहा कि अयोग्य व्यक्ति की प्रशंसा करना तोहमत(मिथ्यारोप) लगाने के समान है।

 

 

20- आदरनीय

 

हज़रत इमाम हसन अस्करी अलैहिस्सलाम ने कहा कि धूर्तता के आधार पर सबसे निर्बल शत्रु वह है जो अपनी शत्रुता को प्रकट कर दे।

 

 

21- आदत का छुड़ाना

 

हज़रत इमाम हसन अस्करी अलैहिस्सलामने कहा कि मूर्ख को प्रशिक्षित करना और किसी वस्तु के आदी से उसकी आदत छुड़ाना मौजज़े के समान है। अर्थात यह दोनो कार्य कठिन हैँ।

 

 

22- माँगने मे गिड़गिड़ाना

 

हज़रत इमाम हसन अस्करी अलैहिस्सलामने कहा कि (किसी व्यक्ति) से कुछ माँगने के लिए गिड़गिड़ाना अपमान व दुख का कारण बनता है।

 

 

23- शिष्ठा चारी

 

हज़रत इमाम हसन अस्करी अलैहिस्सलामने कहा कि तुम्हारे शिष्टा चीरी होने के लिए यही पर्याप्त है, कि तुम दूसरों की जिस बात को पसंद नही करते उसे स्वंय भी न करो।

 

 

24- दानशीलता व कायरता

 

हज़रत इमाम हसन अस्करी अलैहिस्सलामने कहा कि दानशीलता की एक सीमा होती है उससे आगे अपव्यय है। इसी प्रकार दूर दर्शिता व सावधानी की भी एक सीमा है अगर इस से आगे बढ़ा जाये तो यह कायरता है।

 

 

25- कंजूसी व वीरता

 

हज़रत इमाम हसन अस्करी अलैहिस्सलामने कहा कि कम व्यय की भी एक सीमा होती है अगर इस से आगे बढ़ा जाये तो यह कँजूसी है। इसी प्रकार वीरता की भी एक सीमा होती है अगर इस से आगे बढ़ा जाये तो वह तहव्वुर है। अर्थात अत्यधिक वीरता।

 

 

26- मित्रों की अधिकता

 

हज़रत इमाम अस्करी अलैहिस्सलाम ने कहा कि जिसको अल्लाह से डरने की आदत हो, दानशीलता जिसकी प्रकृति मे हो तथा जो गंभीरता को अपनाये हुए हो ऐसे व्यक्ति के मित्रों की संख्या अधिक होती है।

 

 

27- हार्दिक प्रसन्नता

 

हज़रत इमाम हसन अस्करी अलैहिस्सलामने कहा कि जब हृदय प्रसन्न हो उस समय ज्ञान प्राप्ति के लिए प्रयास करो। व जिस समय हृदय प्रसन्नता की मुद्रा मे न हो उस समय स्वतन्त्र रहो।

 

 

28- रोज़े को अनिवार्य करने का कारण

 

हज़रत इमाम हसन अस्करी अलैहिस्सलामने कहा कि अल्लाह ने रोज़े को इस लिए अनिवार्य किया ताकि धनी लोग भूख प्यास की कठिनाईयों समझ कर निर्धनो पर दया करें।

 

 

29- जीविका

 

हज़रत इमाम हसन अस्करी अलैहिस्सलामने कहा कि जिस जीविका का उत्तरदायित्व अल्लाह ने अपने ऊपर लिया है उसकी प्राप्ती को वाजिब कार्यों के मार्ग मे बाधक न बनाओ।

 

 

30- इबादत

 

हज़रत इमाम हसन अस्करी अलैहिस्सलामने कहा कि रोज़े नमाज़ की अधिकता इबादत नही है। अपितु अल्लाह के आदेशों के बारे मे (उनको समझने के लिए) चिंतन करना इबादत है।

 

 

31- हमारे लिए शोभा बनो

 

हज़रत इमाम हसन अस्करी अलैहिस्सलाम ने अपने अनुयाईयों से कहा कि अल्हा से डरो व हमारे लिए शोभा का कारण बनो हमारे लिए बुराई का कारण न बनो।

 

 

32- लालची

 

हज़रत इमाम हसन अस्करी अलैहिस्सलामने कहा कि लालची व्यक्ति अपने मुक़द्दर से अधिक प्राप्त नही कर सकता।

 

 

33- व्यर्थ हंसना

 

आदरनीय इमाम हसन अस्करी ने कहा कि आश्चर्य के बिना हंसना मूर्खता का लक्षण है।

 

 

34- पाप से न डरना

 

हज़रत इमाम हसन अस्करी अलैहिस्सलाम ने कहा कि जो लोगों के सामने पाप करने से नही डरता वह अल्लाह से भी नही डरता।

 

 

35- प्रसन्नता व लज्जा

 

हज़रत इमाम हसन अस्करी अलैहिस्सलाम ने कहा कि तुमको अल्प आयु प्रदान की गयी है और जीवित रहने के लिए गिनती के कुछ दिन दिये गये हैं मृत्यु किसी भी समय आकस्मिक आसकती है। जो (इस संसार) मे पुण्यों की खेती करेगा वह प्रसन्न व लाभान्वित होगा। व जो पापों की खेती करेगा वह लज्जित होगा। प्रत्येक व्यक्ति को वही फल मिलेगा जिसकी वह खेती करेगा। अर्थात जैसे कार्य इस संसार मे करेगा उसको उन्ही कार्यो के अनुसार बदला दिया जायेगा।

 

 

36- बैठने मे शिष्ठा चार

 

हज़रत इमाम हसन अस्करी अलैहिस्सलामने कहा कि जो व्यक्ति किसी सभा मे निम्ण स्थान पर प्रसन्नता पूर्वक बैठ जाये तो उसके वहाँ से उठने के समय तक अल्लाह व फ़रिश्ते उस पर दयावान रहते है।

 

 

37- मित्रता व शत्रुता

 

हज़रत इमाम हसन अस्करी अलैहिस्सलामने कहा कि

 

क-अच्छे व्यक्तियों की अच्छे व्यक्तियों से मित्रता अच्छे व्यक्तियों के लिए पुण्य है।

 

ख-बुरे लोगों की अच्छे लोगों से मित्रता यह अच्छे लोगों के लिए श्रेष्ठता है।

 

ग-बुरे लोगों की अच्छे लोगों से शत्रुता यह अच्छे लोगों के लिए शोभनीय है

 

घ-अच्छे लोगों की बुरे लोगों से शत्रुता यह बुरे लोगों के लिए लज्जा है।

 

 

38- सलाम करना

 

हज़रत इमाम हसन अस्करी अलैहिस्सलामने कहा कि अपने पास से गुज़रने वाले प्रत्येक व्यक्ति को सलाम करना शिष्टाचार है।

 

 

।।अल्लाहुम्मा सल्लि अला मुहम्मदिंव व आलि मु

लेबनान के इस्लामी प्रतिरोध आंदोलन हिज़्बुल्लाह ने एक बयान जारी करके बताया है कि ड्रोन हमला करके उसने ज़ायोनी सरकार के एक आयरन डोम को तबाह कर दिया है।

लेबनान के हिज़्बुल्लाह आंदोलन ने एक बयान जारी करके कहा है कि उसके ड्रोन विमानों ने अवैध अधिकृत फ़िलिस्तीन के उत्तर में स्थित अज़्ज़ाऊरा क्षेत्र में ज़ायोनी सैनिकों के ठिकाने को लक्ष्य बनाया। पार्सटुडे की रिपोर्ट के अनुसार लेबनान के इस्लामी प्रतिरोध आंदोलन हिज़्बुल्लाह के बयान के अनुसार इस हमले में ज़ायोनी सरकार को जानी नुकसान पहुंचा है और इस्राईली सेना का आयरन डोम भी तबाह हो गया।

हिज़्बुल्लाह ने सात अक्तूबर 2023 से ग़ज़ा युद्ध के आरंभ होने के समय से अतिक्रमणकारी ज़ायोनी दुश्मन के ख़िलाफ़ विस्तृत पैमाने पर कार्यवाही आरंभ कर रखी है। उत्तरी मोर्चे पर युद्ध आरंभ होने से इस्राईल अपने एक तिहाई सैनिकों को लेबनान की सीमा पर तैनात करने पर मजबूर हो गया है। हिज़्बुल्लाह ने अपने बयान में बल देकर कहा है कि ज़ायोनी सरकार ने दक्षिणी लेबनान के गांवों व नगरों पर जो हमला किया था यह हमला उसके जवाब में किया गया है।

ज़ायोनी सरकार ने पश्चिमी देशों के व्यापक समर्थन से 7 अक्तूबर 2023 से ग़ज़ा पट्टी और पश्चिमी किनारे पर फ़िलिस्तीन के मज़लूम लोगों के ख़िलाफ़ व्यापक युद्ध आरंभ कर दिया है परंतु अब तक घोषित लक्ष्यों में से किसी भी एक लक्ष्य को वह हासिल नहीं कर सकी है।

इसके मुक़ाबले में ग़ज़ा में फ़िलिस्तीनी प्रतिरोध और लेबनान, इराक़, यमन और सीरिया के प्रतिरोधकों गुटों ने एलान कर रखा है कि वे अतिग्रहणकारी इस्राईल के अपराधों का बदला लेकर रहेंगे।

प्राप्त ताज़ा रिपोर्ट के अनुसार इस्राईल के पाश्विक हमलों में अब तक शहीद होने वाले फ़िलिस्तीनियों की संख्या 40 हज़ार से अधिक हो चुकी है जबकि घायलों की संख्या भी 94 हज़ार से अधिक हो चुकी है।

ज्ञात रहे कि ब्रिटेन की साम्राज्यवादी नीति के तहत ज़ायोनी सरकार का ढांचा वर्ष 1917 में ही तैयार हो गया था और विश्व के विभिन्न देशों व क्षेत्रों से यहूदियों व ज़ायोनियों को लाकर फ़िलिस्तीनियों की मातृभूमि में बसा दिया गया और वर्ष 1948 में ज़ायोनी सरकार ने अपने अवैध अस्तित्व की घोषणा कर दी। उस समय से लेकर आजतक विभिन्न बहानों से फ़िलिस्तीनियों की हत्या, नरसंहार और उनकी ज़मीनों पर क़ब्ज़ा यथावत जारी है।

फिलिस्तीनी सूत्रों के अनुसार उत्तरी गाज़ा पट्टी के जबालिया शहर में एक घर को निशाना बनाकर किए गए इजरायली हवाई हमले में कम से कम नौ फिलिस्तीनी मारे गए और कई अन्य घायल हो गए।

फिलिस्तीनी सूत्रों के अनुसार उत्तरी गाज़ा पट्टी के जबालिया शहर में एक घर को निशाना बनाकर किए गए इजरायली हवाई हमले में कम से कम नौ फिलिस्तीनी मारे गए और कई अन्य घायल हो गए।

इजरायली विमान ने जबालिया में गाजा स्ट्रीट पर अलकुद्स ओपन यूनिवर्सिटी के डॉ. अकरम अलनज्जर के घर पर हमला किया, जिसमें तीन बच्चों और दो महिलाओं सहित नौ लोगों की मौत हो गई और पड़ोसी घरों में अन्य लोग घायल हो गए प्रवक्ता महमूद बस्सल ने कहा गाजा में फिलिस्तीनी नागरिक सुरक्षा नही हैं।

एक रिपोर्ट के अनुसार, नागरिक सुरक्षा टीमें अभी भी लापता लोगों को बचाने के लिए काम कर रही हैं, जो संभावित रूप से लक्षित घर और उसके आस पास की इमारतों के मलबे में दबे हुए हैं।

बासल ने मंगलवार को बताया कि मृतकों और घायलों को उत्तरी गाजा के अस्पताल में ले जाया गया है।

7 अक्टूबर, 2023 को दक्षिणी इजरायली सीमा के माध्यम से हमास के उत्पात के खिलाफ जवाबी कार्रवाई करने के लिए इजरायल ने गाजा में हमास के खिलाफ बड़े पैमाने पर हमला किया, जिसके दौरान लगभग 1,200 लोग मारे गए और 250 से अधिक अन्य को बंधक बना लिया गया है।

स्थानीय स्वास्थ्य अधिकारियों ने मंगलवार को एक बयान में कहा कि गाजा पर चल रहे इजरायली हमलों में फिलिस्तीनी मरने वालों की संख्या बढ़कर 41,020 हो गई है।

 

फ़िलिस्तीन के सामा न्यूज़ की रिपोर्ट के अनुसार, पूर्व ज़ायोनी युद्ध मंत्री बानी गैंट्ज़ ने फ़िलिस्तीनी दृढ़ता से हार स्वीकार करते हुए संयुक्त राज्य अमेरिका और उसके सहयोगियों से ज़ायोनी सरकार को हमास पर जीत हासिल करने में मदद करने की अपील की।

इस बीच, ज़ायोनी सरकार के पूर्व न्याय मंत्री हैम रेमन ने बताया कि हमास को ख़त्म करने और ज़ायोनी कैदियों को रिहा करने का नेतन्याहू का लक्ष्य पूरा नहीं हुआ है, इस तथ्य के बावजूद कि अल-अक्सा पर हमले को लगभग एक साल हो गया है। ज़ायोनी सरकार रणनीतिक हार से बस एक कदम दूर है।

इससे पहले रविवार को, ज़ायोनी प्रधान मंत्री नेतन्याहू ने स्वीकार किया था कि प्रतिरोध मोर्चे ने ज़ायोनी सरकार को आत्मसमर्पण करने और युद्ध बंद करने के लिए प्रेरित किया था, जो कि इज़रायली अधिकारियों के बीच बढ़ते तनाव और इज़रायली सरकार पर आत्मसमर्पण करने और युद्ध को समाप्त करने के बढ़ते दबाव की ओर इशारा करता है।

मजलिस-ए-शूरा-ए-इस्लामी के अध्यक्ष ने एक संदेश में हौज़ा इल्मिया क़ुम के सदस्य और प्रतिष्ठित आलिमेदीन आयतुल्लाह शेख़ अब्बास महफूज़ी के निधन पर दुख व्यक्त करते हुए शोक संदेश भेजा है।

हौज़ा इल्मिया क़ुम के प्रसिद्ध शिक्षक और हौज़ा ए इल्मिया क़ुम के जामेआ मुद्रसीन के सदस्य आयतुल्लाह अब्बास महफूज़ी के निधन पर मजलिस-ए-शूरा-ए-इस्लामी के अध्यक्ष मोहम्मद बाक़िर क़ालीबाफ़ ने दुख व्यक्त करते हुए शोक संदेश भेजा है।

शोक संदेश कुछ इस प्रकार है।

बिस्मिल्लाहिर्रहमानिर्रहीम

इन्ना लिल्लाहि व इन्ना इलाही राजी'उन

إذا مات العالم ثُلم فی الإسلام ثَلمة لا یسدّها شی‌

जब एक आलिमदीन का इंतेकाल होता है इस्लाम में एक ऐसी कमी हो जाती है जिसे कोई भी पूरी नहीं कर सकता। 

आयतुल्लाह शेख़ अब्बास महफूज़ी हौज़ा इल्मिया क़ुम के सदस्य और प्रतिष्ठित आलिम के निधन से गहरा दुख और खेद हुआ। 

आयतुल्लाह महफूज़ी जिन्होंने महान फ़ुज़ला (विद्वानों) से ज्ञान प्राप्त किया इस्लामी आंदोलन की जद्दोजहद में इमाम खुमैनी र.ह. के शागिर्दों और साथियों में से थे अपने सक्रिय योगदान के कारण उन्हें कई बार गिरफ्तार किया गया और कैद किया गया। 

क्रांति के बाद भी वे समर्पित और सच्चे सेवक के रूप में अपनी सेवाएं देते रहे। अपनी धन्य उम्र के दौरान उन्होंने धार्मिक मुद्दों की व्याख्या, इस्लामी शिक्षाओं और अहल-ए-बैत अ.स के संदेशों के प्रसार, छात्रों की शिक्षा और कई पुस्तकों के लेखन में महत्वपूर्ण योगदान दिया।

उन्होंने चैरिटी और सार्वजनिक कल्याण के कार्यों में भी बड़ी दिलचस्पी दिखाई और ज़रूरतमंदों की समस्याओं को हल करने के लिए गंभीर प्रयास किए जो उनके लिए सदैव नेक कामों के रूप में जारी रहेंगे। 

मैं हौज़ा इल्मिया, सम्मानित उलमा, उनके छात्रों, चाहने वालों और उनके परिवार को संवेदना व्यक्त करता हूं,और मैं अल्लाह ताला से दुआ करता हूं कि परिवार वालों को सब्र आता करें और मरहूम की मग़फिरत करें और उन्हें जवारे अहलेबैत अ.स. में जगह करार दें।

मोहम्मद बाक़िर क़ालीबाफ़
अध्यक्ष, मजलिस-ए-शूरा-ए-इस्लामी

 

ग्रामीण विकास मंत्रालय ने बुधवार को घोषणा की कि तूफान यागी और उसके परिणामस्वरूप हुए भूस्खलन और बाढ़ से वियतनाम के क्षेत्र में 170 लोगों की मौत हो गई और 159 लोग लापता हो गए हैं।

ग्रामीण विकास मंत्रालय ने बुधवार को घोषणा की कि तूफान यागी और उसके परिणामस्वरूप हुए भूस्खलन और बाढ़ से वियतनाम के क्षेत्र में 170 लोगों की मौत हो गई और 159 लोग लापता हो गए हैं।

मरने वालों में 29 काओ बांग प्रांत से, 45 लाओ कै प्रांत से और 37 येन बाई प्रांत से थे कई और जगहो के थे।

वियतनाम समाचार एजेंसी के हवाले से रिपोर्ट में कहा गया है कि तुयेन क्वांग प्रांत के स्थानीय अधिकारियों ने मंगलवार को पुष्टि की कि नदी का पानी बढ़ने के कारण क्वेट थांग कम्यून से गुजरने वाली लो नदी का बांध टूट गया है।

बुधवार तड़के राष्ट्रीय जल-मौसम पूर्वानुमान केंद्र के अनुसार, राजधानी हनोई में लाल नदी पर बाढ़ का स्तर तीन स्तरों में से चेतावनी स्तर 2 को पार कर गया है और बुधवार को दोपहर के समय उच्चतम स्तर तक पहुंचने का अनुमान है।

बुधवार की सुबह राष्ट्रीय जलमौसम पूर्वानुमान केंद्र ने थाओ नदी पर अत्यधिक उच्च जल स्तर और कई अन्य पर तेजी से बढ़ती बाढ़ के बारे में चेतावनी जारी की हैं।

केंद्र ने उत्तर में नदियों पर अत्यधिक बाढ़ के पानी के प्रति चेतावनी दी है।

केंद्र ने कहा कि उत्तरी इलाकों में नदी के किनारे के निचले इलाकों में बाढ़ का खतरा अधिक है, जबकि पहाड़ी इलाकों में अचानक बाढ़ और भूस्खलन का अनुमान है।

यूरोपीय संघ के राजनयिक जोसेफ बोरेल ने चेतावनी दी है कि युद्ध की शुरुआत के बाद से वेस्ट बैंक में इजरायल की बढ़ती हिंसा इसे एक नए गाजा में बदल सकती है। उन्होंने कहा कि गाजा में यहूदी बसने वाले अपनी बस्तियां स्थापित करने का इरादा रखते हैं, जिससे गाजा को वेस्ट बैंक में बदलने की संभावना है।

यूरोपीय संघ के राजनयिक जोसेफ बोरेल ने चेतावनी दी है कि युद्ध की शुरुआत के बाद से वेस्ट बैंक में इजरायल की बढ़ती हिंसा से इसके "नए गाजा" में बदलने का खतरा है। गौरतलब है कि 1967 से इजरायल के कब्जे वाले वेस्ट बैंक में 7 अक्टूबर, 2023 को इजरायली युद्ध शुरू होने के बाद से हिंसा बढ़ गई है। बोरेल ने कहा कि वेस्ट बैंक में इजरायल की बढ़ती हिंसा का उद्देश्य इसे एक नए गाजा में बदलना और फिलिस्तीनी प्राधिकरण को अवैध बनाना था। उन्होंने "इजरायली सरकार के कई सदस्यों पर फिलिस्तीनी राज्य की स्थापना को असंभव बनाने की कोशिश करने का आरोप लगाया, जिसे इजरायली प्रधान मंत्री बेंजामिन नेतन्याहू और कई कैबिनेट मंत्रियों ने इजरायल के लिए खतरा बताया है।"

यह याद रखना चाहिए कि कई इजरायली मंत्रियों ने भी वेस्ट बैंक में इजरायली सैनिकों द्वारा छापे बढ़ाने का आह्वान किया है। बोरेल के मुताबिक, अगर कार्रवाई नहीं की गई तो वेस्ट बैंक भी नया गाजा बन जाएगा। उन्होंने बैठक के दौरान कहा कि गाजा नया वेस्ट बैंक बनेगा, क्योंकि बसने वाले आंदोलन वहां भी नई बस्तियां बनाने का इरादा रखते हैं। अंतर्राष्ट्रीय समुदाय इसे महसूस कर रहा है, इसकी निंदा कर रहा है, लेकिन उनके लिए कार्रवाई करना मुश्किल है।

इज़रायली अधिकार समूह यश दीन के अनुसार, 2023 में वेस्ट बैंक में इज़रायली निवासियों द्वारा हमलों में रिकॉर्ड वृद्धि हुई है। लगभग 490,000 इज़रायली वेस्ट बैंक में अवैध बस्तियों में रह रहे हैं, जो अंतरराष्ट्रीय कानून के अनुसार अवैध है। गौरतलब है कि युद्ध शुरू होने के बाद से इजरायली सेना ने वेस्ट बैंक में 662 फिलिस्तीनियों को मार डाला है।

 

 

 

 

 

अपनी प्रवासी नीति पर यूरोपीय संघ से असहमत होकर, हंगरी ने प्रवासियों को ब्रुसेल्स में मुफ्त पहुंच देने पर विचार करने की धमकी दी है, जबकि यूरोपीय संघ ने यूरोपीय आयोग का उल्लंघन करने के लिए हंगरी पर 200 मिलियन यूरो का जुर्माना लगाया है, और अब हंगरी और यूरोपीय संघ इस मुद्दे पर प्रतिस्पर्धा करने आ गया है।

यूरोपीय संघ ब्लॉक की एक शक्तिशाली शाखा ने मंगलवार को चेतावनी दी कि यूरोपीय संघ की नीति की अवहेलना में ब्रुसेल्स में प्रवासियों का काफिला भेजने की हंगरी की धमकी अस्वीकार्य थी। पिछले हफ्ते, हंगरी की अप्रवासी विरोधी सरकार ने संकेत दिया था कि वह प्रवासियों के लिए ब्रुसेल्स की एकतरफ़ा मुफ्त यात्रा की पेशकश करने के अपने इरादे पर गंभीरता से विचार कर रही है, जिसका उद्देश्य यूरोपीय संघ पर आप्रवासी विरोधी हंगरीवासियों पर भारी जुर्माना समाप्त करने के लिए दबाव बनाना था।

जून में, यूरोपीय संघ की अदालत ने शरण नियमों का उल्लंघन करने के लिए हंगरी पर 200 मिलियन यूरो का जुर्माना लगाया, साथ ही जब तक हंगरी अपनी नीति को यूरोपीय संघ के नियमों के अनुरूप नहीं लाता तब तक प्रतिदिन एक मिलियन यूरो का जुर्माना लगाया गया। हालाँकि, हंगरी को यह राशि चुकाने में देर हो गई। हंगरी की योजना के बारे में यूरोपीय आयोग की प्रवक्ता हिपर ने कहा कि यह अस्वीकार्य है। अगर इसे लागू किया गया तो यह यूरोपीय नियमों का स्पष्ट उल्लंघन होगा। इसके अलावा यह आपसी विश्वास और सहयोग का भी उल्लंघन होगा।

यूरोपीय आयोग हंगरी के अधिकारियों के साथ-साथ उन पड़ोसी देशों के संपर्क में है, जहां से काफिला संभावित रूप से गुजर सकता है। यदि काफिला ज़मीन से जाता, तो उसे फ़्रांस या जर्मनी से गुज़रना पड़ता, जो लक्ज़मबर्ग और नीदरलैंड के साथ बेल्जियम की सीमा पर है, और संभवतः ऑस्ट्रिया, क्रोएशिया, स्लोवेनिया, स्लोवाकिया या यहां तक ​​​​कि चेक गणराज्य भी हो सकता है हॉपर ने कहा कि हम यूरोपीय संघ के कानूनों को लागू करने के लिए अपनी पूरी शक्ति का उपयोग करेंगे, हालांकि उन्होंने यह नहीं बताया कि हंगरी पहले से ही 200 मिलियन यूरो का जुर्माना लगाने वाले अदालत के आदेश का उल्लंघन कर रहा है, आगे क्या कार्रवाई की जाएगी?

बेल्जियम के शीर्ष आव्रजन अधिकारी, निकोल डी मूर ने कहा कि हंगरी का कदम यूरोपीय संघ की एकजुटता और सहयोग के लिए हानिकारक था, उन्होंने कहा कि बेल्जियम किसी भी प्रवासी आगमन को प्रवेश नहीं देगा।

हौज़ा इल्मिया क़ुम के प्रसिद्ध शिक्षक और हौज़ा ए इल्मिया क़ुम के जामेआ मुद्रसीन के सदस्य आयतुल्लाह अब्बास महफूज़ी का बीती रात 96 साल की उम्र में दिल का दौरा पड़ने से निधन हो गया।

हौज़ा इल्मिया क़ुम के प्रसिद्ध शिक्षक और हौज़ा ए इल्मिया क़ुम के जामेआ मुद्रसीन के सदस्य आयतुल्लाह अब्बास महफूज़ी का बीती रात 96 साल की उम्र में दिल का दौरा पड़ने से निधन हो गया।

आयतुल्लाह महफूज़ी ने नजफ अशरफ में आयतुल्लाह आल्लामा हिली और आयतुल्लाह शाहरूदी से ज्ञान प्राप्त किए क़ुम अलमुकद्दस में उन्होंने आयतुल्लाह बुर्जुर्दी, इमाम खुमैनी, आयतुल्लाह गुलपायगानी और अन्य प्रसिद्ध उलमा से भी शिक्षा प्राप्त किया था शिक्षा और अध्यापन के साथ-साथ, वह पूरी लगन से वैज्ञानिक और समाजसेवी कार्यों में व्यस्त रहे।

उन्होंने कई समाजसेवी संस्थाएं, विश्वविद्यालय, विकलांगों के लिए केंद्र और धार्मिक मदरसे स्थापित किए उनकी शख्सियत में नरमी और सेवा-भावना प्रमुख थी और वह हमेशा दूसरों की सेवा के लिए समर्पित रहे।

मरहूम आयतुल्लाह महफूज़ी इस्लामी आंदोलन की शुरुआत से ही सक्रिय थे उन्हें कई बार गिरफ्तार किया गया, उन्होंने जेल की कठिनाइयां सहीं और आयतुल्लाहिल उज़्मा बहजत के साथ फिकही इस्तिफ़ता की काउंसिल में भी सेवाएं दीं।

उनके जनाज़े और दफ़्न की जानकारी बाद में दी जाएगी।

 

 

 

हौज़ा इलमिया ईरान के प्रमुख, आयतुल्लाह अली रज़ा आराफ़ी ने, आयतुल्लाह शेख अब्बास महफ़ूज़ी की मृत्यु पर सर्वोच्च क्रांति के नेता, मरज ए तकलीद, हौज़ा इलमिया और उनके छात्रों के प्रति संवेदना व्यक्त की है।

हौज़ा इलमिया के प्रबंधक आयतुल्लाह अली रज़ा आराफ़ी ने आयतुल्लाह हज शेख अब्बास महफ़ूजी के निधन पर एक शोक संदेश जारी किया है, जिसका पाठ इस प्रकार है:

"आयतुल्लाह शेख अब्बास महफ़ूज़ी की मृत्यु ने विद्वान समुदाय को गहरा दुःख पहुँचाया है। वह न केवल एक प्रमुख विद्वान थे जिन्होंने क़ुम और नजफ़ में शैक्षणिक मानक स्थापित किए, बल्कि उन्होंने कई छात्रों को प्रशिक्षित किया और महत्वपूर्ण धार्मिक पुस्तकें लिखीं। उनका सरल जीवन, नैतिक गुण, आयतुल्लाहिल उज़्मा बहजात के साथ घनिष्ठ संबंध उनके आध्यात्मिक उत्थान का प्रतिबिंब है।

वह सामाजिक क्षेत्र में भी लोगों की सेवा करने में सबसे आगे थे और इस्लामी क्रांति के दौरान शाही सरकार के खिलाफ संघर्ष के दौरान उन्हें कई कठिनाइयों का सामना करना पड़ा।

 

मरहूम की वफ़ात पर हज़रत वली अस्र (अ) मराज ए तकलीद, क्रांति के नेता, हौज़ा ए इल्मिया के शिक्षकों, उनके छात्रों, गिलान और रुदसर के लोगों और उनके परिवारों  के प्रति अपनी हार्दिक संवेदना व्यक्त करता हूं।

आशा सईदन व माता सईदा

(दिनांक: 11 सितंबर 2024/7 रबीअ उल-अव्वल 1446)